फिल्मी धुन पर भजन सोचिए
कैसे लागे लगन सोचिए
गंगाजल है प्रदूषित बहुत
कैसे हो आचमन सोचिए
काँटों की तो है फितरत मगर
फूल से भी चुभन सोचिए
पाँव उठते नहीं बोझ से
आप मेरी थकन सोचिए
और जितने थे सब बच गए
बस जली है दुल्हन सोचिए
२६८/४६/६६-डी, खजुहा,
तकिया चाँद अली शाह,
लखनऊ-२२६००४
फोन- 09415928198
शनि राहु युति के परिणाम
2 दिन पहले
13 टिप्पणियां:
फिल्मी धुन पर भजन सोचिए
कैसे लागे लगन सोचिए
बिलकुल सही कहा आप ने.ऒर आज कल यही भजन तो गाये जा रहे है हर तरफ़.
धन्यवाद
आप से अब तक मुलाक़ात कैसे नहीं हुई... छोटे बहर में तीखे विचार..धन्यवाद!!
फिल्मी धुन पर भजन सोचिये .. इस एक पंक्ति मे जो सटायर है वह अद्भुत है ।
फिल्मी धुन पर भजन सोचिए
कैसे लागे लगन सोचिए
बहुत जबरदस्त अभिव्यक्ति
पाँव उठते नहीं बोझ से
आप मेरी थकन सोचिए
.... bahut sundar bhavabhivykti ke liye dhanyavaad..
फिल्मी धुन पर भजन सोचिए
कैसे लागे लगन सोचिए
गंगाजल है प्रदूषित बहुत
कैसे हो आचमन सोचिए
काँटों की तो है फितरत मगर
फूल से भी चुभन सोचिए
पाँव उठते नहीं बोझ से
आप मेरी थकन सोचिए
और जितने थे सब बच गए
बस जली है दुल्हन सोचिए
bahut khoob......
kavita ke madhyam se uttam vyang...
bura na mano holi hai kab tak chalegi..........
काँटों की तो है फितरत मगर
फूल से भी चुभन सोचिए
... बहुत सुन्दर,प्रसंशनीय !!!
प्रशंसनीय ।
Behtreen Chayan evm Prastuti.....Aap dono sadhuwad swikaren...
पाँव उठते नहीं बोझ से
आप मेरी थकन सोचिए
बहुत सुन्दर
फिल्मी धुन पर भजन सोचिये .. rochak rachna!
मनभावन रचना..अच्छी लगी..बधाई.
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